नई दिल्ली । लोकसभा चुनाव से पहले ही विपक्ष की ऐसी ऐसी तस्वीरें सामने आ रही है जो इंडिया गठबंध एक नीव को कमजोर और खोखली करती जा रही है. उत्तर प्रदेश के मुख्य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी को एक झटका लगा है। कानपुर में एक महीने के भीतर सपा को आज दूसरा बड़ा झटका लगा है. बीएसपी से सपा में शामिल हुए पूर्व विधायक ने आज सपा का साथ छोड़कर बीजेपी का हाथ थाम लिया है।
आरपी कुशवाह ओबीसी वोटरों के चहेते नेताओं में शुमार थे
दरअसल ये तस्वीर जिसमे यूपी के डिप्टी सीएम बृजेश पाठक, प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी और यूपी के दूसरे डिप्टी सीएम केशव मौर्य के संग अन्य नेता खड़े है. वहीं यूपी के डिप्टी सीएम केशव मौर्य को हाथों में फूलों का गुलदस्ता दिया जाता है. बीएसपी में अपनी एक अलग पहचान बनाने वाले आरपी कुशवाह ओबीसी वोटरों के चहेते नेताओं में शुमार थे लेकिन बीएसपी से निष्कासित होने का बाद कुशवाह ने सपा का दामन थाम लिया और पार्टी में सक्रिय हो गए।
नाकाम रही पूर्व विधायक को मनाने की कोशिश
लेकिन वे पिछले कई दिनों से पार्टी में सम्मन्न मिलने और नए लोगों के नए नए तौर तरीके से प्रभावित होकर उन्होंने पार्टी से इस्तीफा देने का मन बना लिया और 17 फरवरी को वह सपा बाहर निकल गए. आज लखनऊ पहुंचकर बीजेपी में शामिल हो गए ,हालाकि सपा कि ओर से उन्हें मनाने की की कोशिश की गई लेकिन नतीजा सिफर ही रहा है।
लोकसभा से पहले सपा छोड़कर बीजेपी में जाने वाले आरपी कुशवाह ने सपा को बड़ा झटका दे दिया ,इससे पहले पूर्व विधायक कमलेश चंद्र दिवाकर ने भी कुछ दिन पहले सपा से हांथ खींचकर कन्नौज में सीएम योगी के मंच पर दिखाई दिए थे और उसके बाद उन्होंने भी सपा से दूरियां बनाकर बीजेपी का हांथ पकड़ लिया,अब देखना है कि एक दल को छोड़कर दूसरे दल में जाना इन नेताओं को कितना फलता है।